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पिछते दिनों प्रभात प्रकाशन द्वारा नई दिल्ली के कॉन्स्टीट्यूशन क्लब में पूर्व सैन्य अधिकारी मेजर सरस त्रिपाठी लिखित ‘कश्मीर में आतंकवाद-आंखों देखा सच’ पुस्तक का लोकार्पण कार्यक्रम हुआ। पुस्तक का विमोचन केंद्रीय राज्यमंत्री ड़ॉ. जितेंद्र सिंह, भाजपा के राष्टÑीय प्रवक्ता ड़ॉ. सुधांशु त्रिवेदी, पूर्व उप सेनाध्यक्ष लेफ्टिनेंट जनरल श्री नरेंद्र सिंह की गरिमामय उपस्थित में हुआ। समारोह में मुख्य अतिथि के रूप में उपस्थिति डॉ. जितेन्द्र सिंह ने कहा कि जिसने कश्मीर की धरती पर वहां का वास्तविक चित्र देखा, सहा, झेला है वही इस पुस्तक को लिए सकता था। इस दृष्टि से यह पुस्तक अधिक प्रामाणिक है। कश्मीर के विषय पर सैनिकों के जो विवरण मिलते हैं, उसको अधिक प्रोत्साहन देने की आवश्यकता है, बजाए बुद्धिजीवियों के जो कुछ दिन के कश्मीर प्रवास के आधार पर पुस्तक लिखते हैं। कार्यक्रम के मुख्य वक्ता ले. जनरल नरेन्द्र सिंह ने कहा कि उस समय कश्मीर में आतंकवाद चरम सीमा पर था, जिस समय लेखक ने एक युवा सैनिक के रूप में वहां परिस्थिति को लम्बे समय तक नजदीक से देखा-समझा और अनुभव किया। उन्होंने कश्मीर में सैनिकों के कठिन जीवन और कश्मीर के नागरिकों के भाव को इसमें प्रकट किया है, इसमें दुर्दांत आतंकवादियों के साथ मुठभेड़ों की कहानियां हैं। लेखक मेजर सरस त्रिपाठी ने कहा कि कश्मीर के बारे में बहुत सी बातें शेष भारत में आज भी अस्पष्ट हैं और शेष भारत के बारे में कश्मीर में भी अस्पष्टता कायम है। यह पुस्तक उन सभी के बारे में विस्तार से बताती है। प्रतिनिधि
भीमा-कोरेगांव घटना पर सेमिनार का आयोजन
दिल्ली विश्वविद्यालय के प्राध्यापकों और शोध छात्रों के संगठन सेंटर फॉर सोशल डेवलपमेंट ने भीमा-कोरेगांव की घटना पर ‘भीमा-कोरेगांव का सच’ शीर्षक से दिल्ली विश्वविद्यालय की आर्ट्स फैकल्टी में सेमिनार का आयोजन किया, जिसमें मुख्य वक्ता के रूप में राजनीति विज्ञान विभाग के प्रो़ विद्युत चक्रबर्ती और प्रसार भारती के सलाहकार ज्ञानेन्द्र बरतरिया उपस्थित रहे। इस अवसर पर प्रो़ विद्युत चक्रबर्ती ने कहा कि भीमा-कोरेगांव का युद्ध ईस्ट इंडिया कंपनी और पेशवाओं के बीच हुआ था। लेकिन दुर्भाग्य से तथाकथित आंबेडकरवादियों ने इस युद्ध को महार और मराठाओं के बीच संघर्ष होना बताया, जो बाबा साहेब आंबेडकर के विचारों और दर्शन के खिलाफ है। श्री ज्ञानेंद्र बरतरिया ने कहा कि भीमा-कोरेगांव की घटना एक सुनियोजित षड्यंत्र थी। इस घटना में कई राष्टÑविरोधी संगठनों का हाथ है। प्रतिनिधि
राष्ट्रीय युवा जागृति महोत्सव संपन्न
वर्षों से सांस्कृतिक पुनरुत्थान एवं युवा सशक्तिकरण के लिए समर्पित विवेकानन्द स्वाध्याय मण्डल, पंतनगर का 15वां राष्ट्रीय युवा जागृति महोत्सव पिछले दिनों संपन्न हुआ। इस अवसर पर गोविंद बल्लभ पंत कृषि एवं प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय के रतन सिंह सभागार में एक संगोष्ठी का आयोजन किया गया। कार्यक्रम में अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद के राष्टÑीय संगठन मंत्री श्री सुनील आम्बेकर एवं वरिष्ठ प्रचारक श्री राजेन्द्र चड्ढा, लोकप्रिय गायक कैलाश खेर, रामकृष्ण मिशन, देहरादून के सचिव स्वामी असीम आत्मानंद ने अपने विचार रखे। प्रतिनिधि
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