स्वामी विवेकानंद सार्द्धशती समारोहस्वामी विवेकानंद को जाने जन-जन-तरुण सिसोदिया
July 14, 2025
  • Read Ecopy
  • Circulation
  • Advertise
  • Careers
  • About Us
  • Contact Us
android app
Panchjanya
  • ‌
  • विश्व
  • भारत
  • राज्य
  • सम्पादकीय
  • संघ
  • वेब स्टोरी
  • ऑपरेशन सिंदूर
  • अधिक ⋮
    • जीवनशैली
    • विश्लेषण
    • लव जिहाद
    • खेल
    • मनोरंजन
    • यात्रा
    • स्वास्थ्य
    • धर्म-संस्कृति
    • पर्यावरण
    • बिजनेस
    • साक्षात्कार
    • शिक्षा
    • रक्षा
    • ऑटो
    • पुस्तकें
    • सोशल मीडिया
    • विज्ञान और तकनीक
    • मत अभिमत
    • श्रद्धांजलि
    • संविधान
    • आजादी का अमृत महोत्सव
    • मानस के मोती
    • लोकसभा चुनाव
    • वोकल फॉर लोकल
    • जनजातीय नायक
    • बोली में बुलेटिन
    • पॉडकास्ट
    • पत्रिका
    • ओलंपिक गेम्स 2024
    • हमारे लेखक
SUBSCRIBE
  • ‌
  • विश्व
  • भारत
  • राज्य
  • सम्पादकीय
  • संघ
  • वेब स्टोरी
  • ऑपरेशन सिंदूर
  • अधिक ⋮
    • जीवनशैली
    • विश्लेषण
    • लव जिहाद
    • खेल
    • मनोरंजन
    • यात्रा
    • स्वास्थ्य
    • धर्म-संस्कृति
    • पर्यावरण
    • बिजनेस
    • साक्षात्कार
    • शिक्षा
    • रक्षा
    • ऑटो
    • पुस्तकें
    • सोशल मीडिया
    • विज्ञान और तकनीक
    • मत अभिमत
    • श्रद्धांजलि
    • संविधान
    • आजादी का अमृत महोत्सव
    • मानस के मोती
    • लोकसभा चुनाव
    • वोकल फॉर लोकल
    • जनजातीय नायक
    • बोली में बुलेटिन
    • पॉडकास्ट
    • पत्रिका
    • ओलंपिक गेम्स 2024
    • हमारे लेखक
Panchjanya
panchjanya android mobile app
  • होम
  • विश्व
  • भारत
  • राज्य
  • सम्पादकीय
  • संघ
  • ऑपरेशन सिंदूर
  • वेब स्टोरी
  • जीवनशैली
  • विश्लेषण
  • मत अभिमत
  • रक्षा
  • धर्म-संस्कृति
  • पत्रिका
होम Archive

स्वामी विवेकानंद सार्द्धशती समारोहस्वामी विवेकानंद को जाने जन-जन-तरुण सिसोदिया

by
Dec 29, 2012, 12:00 am IST
in Archive
FacebookTwitterWhatsAppTelegramEmail

दिंनाक: 29 Dec 2012 14:58:42

'उठो, जागो और लक्ष्य की प्राप्ति तक मत रुको' का ऊर्जावान संदेश देने वाले भारत के युवा संन्यासी, जिन्होंने 40 वर्ष से भी कम की आयु में देश-विदेश में लोगों के हृदय को अपने तेजस्वी विचारों से जीतकर संसार से विदा ली थी। ऐसे स्वामी विवेकानंद आज विश्व के करोड़ों लोगों के प्रेरणास्रोत तथा आदर्श बन चुके हैं। अंग्रेजी और बंगला सहित अनेक भाषाओं पर समान अधिकार रखने वाले स्वामी विवेकानंद सभी मत-पंथों को बराबर आदर देने के साथ-साथ समाज जीवन से संबंधित हर विषय पर दूरगामी विचार रखते थे। 11 सितंबर, 1893 को शिकागो (अमरीका) में हुए विश्व धर्म सम्मेलन में हिन्दू धर्म के प्रतिनिधि के रूप में उन्होंने अमरीकी जनता के सामने हिन्दू धर्म और संस्कृति के उदात्त सिद्धांतों का प्रतिपादन किया, जिन्हें सुनकर अमरीकावासियों के मन में भारत के इस युवा संन्यासी के प्रति अगाध श्रद्धा उमड़ पड़ी। विश्वभर में दिए अपने व्याख्यानों में भी उन्होंने धर्म और वेदांत पर विचार रखने के साथ-साथ आर्य सभ्यता, भारतीय संस्कृति एवं समाज व्यवस्था, मूर्ति पूजा आदि विषयों को छुआ।

अपार विशेषताओं के धनी स्वामी विवेकानंद की 12 जनवरी, 2013 को 150वीं जयंती है। वैसे तो हर वर्ष 12 जनवरी के दिन स्वामी विवेकानंद की जयंती देशभर में 'राष्ट्रीय युवा दिवस' के रूप में धूमधाम से मनाई जाती है। स्थान-स्थान पर भिन्न-भिन्न संस्थाओं और संगठनों द्वारा स्वामीजी और उनके विचारों का मनन किया जाता है। इस वर्ष भी देश स्वामीजी की जयंती मनाएगा। व्याख्यान होंगे, उन्हें और उनके विचारों को याद किया जाएगा। परन्तु समाज के भिन्न-भिन्न क्षेत्रों में कार्य करने वाले कुछ जागरूक महानुभावों द्वारा एक समिति बनाई गई है, जिसने निश्चित किया है कि वह स्वामी विवेकानंद की 150वीं जयंती वर्षभर मनाएगी। इसके लिए उसने पुख्ता योजना भी तैयार की है तथा उसका क्रियान्वयन करना भी शुरू कर दिया है। समिति का नाम है 'स्वामी विवेकानंद सार्द्धशती समारोह समिति'।

स्वामी विवेकानंद के विचारों को जन-जन तक पहुंचाने के उद्देश्य बीते 18 नवंबर, 2012 को नई दिल्ली में 'स्वामी विवेकानंद सार्द्धशती समारोह समिति' की केन्द्रीय समिति की घोषणा हुई। समिति की अध्यक्षा के रूप में माता अमृतानंदमयी मठ की संस्थापक तथा प्रसिद्ध आध्यात्मिक गुरु माता अमृतानंदमयी देवी हैं। मानद अध्यक्ष हैं प्रख्यात संविधानविद् डा. सुभाष चंद्र कश्यप। विवेकानंद केन्द्र के अध्यक्ष श्री पी. परमेश्वरन् समिति में संरक्षक हैं। इनके अतिरिक्त देश की अनेक प्रसिद्ध विभूतियां समिति में पदाधिकारी हैं। समिति की देशभर में सार्द्धशती समारोह करने की योजना है। इसलिए हर स्तर पर समितियों का गठन किया जा रहा है।  

'भारत जागो! विश्व जगाओ!!' के विचार को ध्यान में रखते हुए समिति ने समाज के हर वर्ग तक पहुंचने के लिए एक अनूठी योजना बनाई है। सम्पूर्ण समाज योजना में समाहित हो इसलिए समिति ने समाज को 5 भागों में विभाजित किया है। यह हैं- युवाशक्ति, संवर्धिनी, प्रबुद्ध भारत, ग्रामायण और अस्मिता। इन 5 आयामों के जरिए समिति वर्षभर स्वामी विवेकानंद के विचार समाज तक पहुंचाने हेतु प्रयत्नशील रहेगी।

युवाशक्ति– इस आयाम के अंतर्गत समिति 40 वर्ष तक के युवाओं के लिए शक्ति, स्वाध्याय व सेवा को प्रेरित करने वाली गतिविधियों का आयोजन करेगी। विवेकानंद यूथ फोरम, विवेकानंद स्वाध्याय मंडल आदि का गठन करके युवाओं को जागरूक करने के कार्यक्रम होंगे।

संवर्धिनी– इसके अंतर्गत राष्ट्र जागरण एवं संस्कृति संरक्षण, संवर्धन व प्रसार में महिला सहभाग को बढ़ाने के लिए कार्यक्रम आयोजित किए जाएंगे। इनमें प्रबुद्ध महिला संगोष्ठी, शक्ति सम्मेलन, किशोरी शिविर, युवा दंपति सम्मेलन आदि प्रमुख होंगे। 

प्रबुद्ध भारत– इस आयाम के जरिए शिक्षित एवं प्रबुद्ध वर्ग की विचार शैली परिष्कृत करने के उद्देश्य से कार्यक्रम होंगे। इनमें स्वामी विवेकानंद के जीवन पर केन्द्रित व्याख्यानमालाएं, राज्यस्तरीय सम्मेलन आदि प्रमुख हैं।

ग्रामायण– ग्रामीणों का आत्मविश्वास बढ़ाने वाले आयोजन इस आयाम के अंतर्गत होंगे। इस आयाम का उद्देश्य ग्राम जीवन को सशक्त बनाना है। स्वामी विवेकानंद शोभायात्रा, उनके चित्रों और विचारों को घर-घर पहुंचाना इसमें अहम होगा। 

अस्मिता– इसके अंतर्गत जनजातीय बंधुओं में 'अस्मिता' का जागरण करने वाले कार्यक्रम होंगे। जनजाति मंचों के सम्मेलन, जनजाति उत्सव, मतांतरण रोकने के लिए परिचर्चा आदि इस आयाम के अंतर्गत होंगी।

स्वामी विवेकानंद सार्द्धशती समारोह 12 जनवरी, 2013 से प्रारम्भ होकर 12 जनवरी, 2014 तक चलेगा। इसके लिए केन्द्रीय समिति ने कुछ कार्यक्रम भी तय किए हैं। सार्द्धशती समारोह का उद्घाटन कार्यक्रम स्वामी विवेकानंद की 150वीं जयंती की पूर्व संध्या (11 जनवरी, 2013) पर नई दिल्ली में सम्पन्न होगा। इसमें समिति के सभी पदाधिकारी उपस्थित रहेंगे। प्रबुद्ध भारत आयाम के अंतर्गत सम्पन्न होने वाले इस समारोह में देशभर के प्रबुद्ध नागरिक बड़ी संख्या में भाग लेंगे। 12 जनवरी, 2013 को स्वामी विवेकानंद की 150वीं जयंती है। इस दिन देशभर में जगह-जगह शोभायात्राएं होंगी। इन शोभायात्राओं में समाज का हर वर्ग सम्मिलित होगा। 18 फरवरी, 2013 को सम्पूर्ण देश में सूर्य नमस्कार महायज्ञ होगा। युवा आयाम के अंतर्गत होने वाले इस कार्यक्रम में देशभर में लाखों की संख्या में युवा भाग लेंगे। समिति के कार्यकर्ता विद्यालयों-महाविद्यालयों तथा अन्य शैक्षिक संस्थाओं से सम्पर्क करके छात्रों को इस महायज्ञ में भाग लेने का अनुरोध करेंगे। 11 सितंबर को देशभर में भारत जागो दौड़ का आयोजन होगा। इन तय कार्यक्रमों के अलावा समिति के कार्यकर्ता देशभर में गृह सम्पर्क करेंगे, जिसके अंतर्गत 4 करोड़ परिवारों से सम्पर्क किया जाएगा। साथ ही राष्ट्रीय हित के विषयों पर राष्ट्रीय स्तर के सम्मेलन भी समिति द्वारा आयोजित किए जाएंगे। इसी प्रकार स्थानीय समितियां भी स्वामी विवेकानंद के विचार जन-जन तक पहुंचाने के लिए कार्यक्रमों का आयोजन करेंगी।

वर्षभर चलने वाले स्वामी विवेकानंद सार्द्धशती समारोह को सफल बनाने के लिए गत 25 दिसंबर को समिति ने देशभर में संकल्प दिवस का आयोजन किया। देशभर में अनेक स्थानों पर हुए संकल्प दिवस के कार्यक्रमों में बड़ी संख्या में देशवासियों ने भाग लिया तथा स्वामी विवेकानंद के विचारों से प्रेरित होकर देश तथा समाज के लिए कुछ करने का संकल्प लिया।

आज भी है स्वामी विवेकानंद के संदेश की आवश्यकता

–डा. सुभाष चंद्र कश्यप, मानद अध्यक्ष, स्वामी विवेकानंद सार्द्धशती समारोह समिति

स्वामी विवेकानंद देश की महान और महत्वपूर्ण विभूतियों में से हैं। जब देश शारीरिक और मानसिक रूप से भयंकर दासता में जकड़ा था उस समय स्वामीजी ने 'उतिष्ठ जाग्रत' का आह्वान किया। जन-जन को जाग्रत करने का बीड़ा उठाया। एक नई बौद्धिक, सांस्कृतिक और आध्यात्मिक चेतना पैदा की। विश्वभर में जब भारत को किसी प्रकार भी सम्मान की दृष्टि से नहीं देखा जाता था, ऐसे में उन्होंने अपने को सभ्य और सुशिक्षित समझने वाले पाश्चात्य देशों को आईना दिखाया। भारत की सोच, उसके दर्शन, उसकी सभ्यता-संस्कृति और आध्यात्मिक महानता का संदेश दिया। देश के भीतर घूम-घूमकर भी उन्होंने सभी युवकों और नर-नारियों को यह विश्वास दिलाने का प्रयास किया कि उनमें अदम्य शक्ति है। और यदि वह अपनी धरोहर व सामर्थ्य को पहचानें तो वह एक बार फिर विश्वगुरु के आसन पर बैठ सकते हैं। आज स्वामी विवेकानंद के आने के 150 वर्ष बाद भी उनके संदेश की उतनी ही आवश्यकता महसूस होती है जितनी तब थी। स्वाधीनता के बाद आज हम जिस दुर्दशा और दिशाहीनता का अनुभव कर रहे हैं, उसमें स्वामी विवेकानंद, उनके विचार, उनके आह्वान और उद्घोष का व्यापक प्रचार-प्रसार ही संभवत: हमें पुनर्जीवित कर सकेगा। इसी को ध्यान में रखते हुए 'स्वामी विवेकानंद सार्द्धशती समारोह समिति' ने स्वामी विवेकानंद की 150वीं जयंती वर्षभर मनाने का निर्णय किया है। आयोजन का उद्देश्य है कि देशवासी स्वामी विवेकानंद के जीवन और उनके विचारों से प्रेरणा लेकर समाज के प्रति कुछ जिम्मेदारी समझें और देश के लिए कुछ करने का संकल्प लें। वर्षभर समाज के भिन्न-भिन्न वर्गों के लिए आयोजित होने वाले कार्यक्रमों का उद्देश्य समाज को जागरूक करना ही है और जागरूक समाज को किसी राजनीतिक दल में कार्य करने के लिए नहीं लगाया जाएगा, बल्कि वे समाज के प्रति अपना कुछ दायित्व समझकर देश के लिए कुछ कार्य करें इसलिए यह समारोह आयोजित किया जा रहा है।

ShareTweetSendShareSend
Subscribe Panchjanya YouTube Channel

संबंधित समाचार

नूंह में शोभायात्रा पर किया गया था पथराव (फाइल फोटो)

नूंह: ब्रज मंडल यात्रा से पहले इंटरनेट और एसएमएस सेवाएं बंद, 24 घंटे के लिए लगी पाबंदी

गजवा-ए-हिंद की सोच भर है ‘छांगुर’! : जलालुद्दीन से अनवर तक भरे पड़े हैं कन्वर्जन एजेंट

18 खातों में 68 करोड़ : छांगुर के खातों में भर-भर कर पैसा, ED को मिले बाहरी फंडिंग के सुराग

बालासोर कॉलेज की छात्रा ने यौन उत्पीड़न से तंग आकर खुद को लगाई आग: राष्ट्रीय महिला आयोग ने लिया संज्ञान

इंटरनेट के बिना PF बैलेंस कैसे देखें

EPF नियमों में बड़ा बदलाव: घर खरीदना, इलाज या शादी अब PF से पैसा निकालना हुआ आसान

Indian army drone strike in myanmar

म्यांमार में ULFA-I और NSCN-K के ठिकानों पर भारतीय सेना का बड़ा ड्रोन ऑपरेशन

टिप्पणियाँ

यहां/नीचे/दिए गए स्थान पर पोस्ट की गई टिप्पणियां पाञ्चजन्य की ओर से नहीं हैं। टिप्पणी पोस्ट करने वाला व्यक्ति पूरी तरह से इसकी जिम्मेदारी के स्वामित्व में होगा। केंद्र सरकार के आईटी नियमों के मुताबिक, किसी व्यक्ति, धर्म, समुदाय या राष्ट्र के खिलाफ किया गया अश्लील या आपत्तिजनक बयान एक दंडनीय अपराध है। इस तरह की गतिविधियों में शामिल लोगों के खिलाफ कानूनी कार्रवाई की जाएगी।

ताज़ा समाचार

नूंह में शोभायात्रा पर किया गया था पथराव (फाइल फोटो)

नूंह: ब्रज मंडल यात्रा से पहले इंटरनेट और एसएमएस सेवाएं बंद, 24 घंटे के लिए लगी पाबंदी

गजवा-ए-हिंद की सोच भर है ‘छांगुर’! : जलालुद्दीन से अनवर तक भरे पड़े हैं कन्वर्जन एजेंट

18 खातों में 68 करोड़ : छांगुर के खातों में भर-भर कर पैसा, ED को मिले बाहरी फंडिंग के सुराग

बालासोर कॉलेज की छात्रा ने यौन उत्पीड़न से तंग आकर खुद को लगाई आग: राष्ट्रीय महिला आयोग ने लिया संज्ञान

इंटरनेट के बिना PF बैलेंस कैसे देखें

EPF नियमों में बड़ा बदलाव: घर खरीदना, इलाज या शादी अब PF से पैसा निकालना हुआ आसान

Indian army drone strike in myanmar

म्यांमार में ULFA-I और NSCN-K के ठिकानों पर भारतीय सेना का बड़ा ड्रोन ऑपरेशन

PM Kisan Yojana

PM Kisan Yojana: इस दिन आपके खाते में आएगी 20वीं किस्त

FBI Anti Khalistan operation

कैलिफोर्निया में खालिस्तानी नेटवर्क पर FBI की कार्रवाई, NIA का वांछित आतंकी पकड़ा गया

Bihar Voter Verification EC Voter list

Bihar Voter Verification: EC का खुलासा, वोटर लिस्ट में बांग्लादेश, म्यांमार और नेपाल के घुसपैठिए

प्रसार भारती और HAI के बीच समझौता, अब DD Sports और डिजिटल प्लेटफॉर्म्स पर दिखेगा हैंडबॉल

  • Privacy
  • Terms
  • Cookie Policy
  • Refund and Cancellation
  • Delivery and Shipping

© Bharat Prakashan (Delhi) Limited.
Tech-enabled by Ananthapuri Technologies

  • Search Panchjanya
  • होम
  • विश्व
  • भारत
  • राज्य
  • सम्पादकीय
  • संघ
  • ऑपरेशन सिंदूर
  • वेब स्टोरी
  • जीवनशैली
  • विश्लेषण
  • लव जिहाद
  • खेल
  • मनोरंजन
  • यात्रा
  • स्वास्थ्य
  • धर्म-संस्कृति
  • पर्यावरण
  • बिजनेस
  • साक्षात्कार
  • शिक्षा
  • रक्षा
  • ऑटो
  • पुस्तकें
  • सोशल मीडिया
  • विज्ञान और तकनीक
  • मत अभिमत
  • श्रद्धांजलि
  • संविधान
  • आजादी का अमृत महोत्सव
  • लोकसभा चुनाव
  • वोकल फॉर लोकल
  • बोली में बुलेटिन
  • ओलंपिक गेम्स 2024
  • पॉडकास्ट
  • पत्रिका
  • हमारे लेखक
  • Read Ecopy
  • About Us
  • Contact Us
  • Careers @ BPDL
  • प्रसार विभाग – Circulation
  • Advertise
  • Privacy Policy

© Bharat Prakashan (Delhi) Limited.
Tech-enabled by Ananthapuri Technologies