कांग्रेस द्वारा दिल्ली को 'इस्लामी राज्य' बनाने की तैयारी!
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सुभाष पार्क में 'अकबराबादी मस्जिद' के लिए शीला सरकार ने दिए लाखों रु.
दिल्ली के इस्लामीकरण की कोशिशों के विरोध में 20 जुलाई को साधु–संतों के नेतृत्व में सैकड़ों लोगों ने गौरीशंकर मन्दिर (चांदनी चौक) से सुभाष पार्क तक रैली निकालकर रोष प्रदर्शन किया, जहां पुलिस ने उन्हें गिरफ्तार कर लिया।
दिल्ली में सुभाष पार्क की बहुमूल्य जमीन पर अनधिकृत कब्जा कर सरकारी देख–रेख में जिस प्रकार मस्जिद का निर्माण कराया जा रहा है उसने एक बार फिर मुगलिया काल की याद ताजा कर दी है। विश्व हिन्दू परिषद्, दिल्ली द्वारा 'अकबराबादी मस्जिद' के सम्बंध में विधायक शोएब इकबाल की गतिविधियों पर यह टिप्पणी की गई है।
परिषद् के महामंत्री श्री सत्येन्द्र मोहन ने दिल्ली की मुख्यमंत्री श्रीमती शीला दीक्षित से पूछा है कि क्या वह दिल्ली को 'इस्लामी राज्य' बनाना चाहती हैं?' उन्होंने कहा कि सरकारी सम्पत्ति पर कब्जा करवाकर संविधान व देश के करदाताओं की खून–पसीने की कमाई का जो दुरुपयोग दिल्ली सरकार ने किया है उसे दिल्ली की जनता कतई बर्दाश्त नहीं करेगी। एक तो दिल्ली में पुराने मन्दिरों को शीला सरकार तोड़ रही है दूसरी ओर लालकिले के पास की बेशकीमती भूमि मुस्लिम समुदाय को सौंपकर मूकदर्शक बनी हुई है। इससे देश की राजधानी में अराजकता की स्थिति बनेगी।
विहिप, दिल्ली के मीडिया प्रमुख श्री विनोद बंसल ने बताया कि लालकिले से सटी इस सरकारी भूमि का 'तालिबानीकरण' किए जाने से क्षुब्ध विहिप व बजरंग दल, दिल्ली ने एक बैठक बुलाई, जिसमें पारित प्रस्ताव में कहा गया है कि यह कोई पहली घटना नहीं है जब दिल्ली सरकार ने मुस्लिम समुदाय के तुष्टीकरण की ओर कदम बढ़ाया है। इससे पूर्व भी स्थानीय लोगों के हितों की अनदेखी करके कानून का मखौल उड़ाते हुए जंगपुरा में डीडीए की भूमि पर तथा बी.के. दत्त कालोनी में पुरातत्व विभाग की भूमि पर सरकार ने कब्जे कराए हैं। प्रस्ताव में कहा गया है कि श्री सत्येन्द्र मोहन ने गत 12 जुलाई की रात 1.30 बजे 100 नम्बर पर फोन कर सरकारी भूमि पर जबरन कब्जे की शिकायत दर्ज कराई थी, किन्तु उस पर अभी तक कोई कार्रवाई नहीं हुई।
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