सम्पादकीय
July 19, 2025
  • Read Ecopy
  • Circulation
  • Advertise
  • Careers
  • About Us
  • Contact Us
android app
Panchjanya
  • ‌
  • विश्व
  • भारत
  • राज्य
  • सम्पादकीय
  • संघ
  • वेब स्टोरी
  • जीवनशैली
  • अधिक ⋮
    • ऑपरेशन सिंदूर
    • विश्लेषण
    • लव जिहाद
    • खेल
    • मनोरंजन
    • यात्रा
    • स्वास्थ्य
    • धर्म-संस्कृति
    • पर्यावरण
    • बिजनेस
    • साक्षात्कार
    • शिक्षा
    • रक्षा
    • पुस्तकें
    • सोशल मीडिया
    • विज्ञान और तकनीक
    • मत अभिमत
    • श्रद्धांजलि
    • संविधान
    • आजादी का अमृत महोत्सव
    • मानस के मोती
    • जनजातीय नायक
    • पॉडकास्ट
    • पत्रिका
    • हमारे लेखक
SUBSCRIBE
  • ‌
  • विश्व
  • भारत
  • राज्य
  • सम्पादकीय
  • संघ
  • वेब स्टोरी
  • जीवनशैली
  • अधिक ⋮
    • ऑपरेशन सिंदूर
    • विश्लेषण
    • लव जिहाद
    • खेल
    • मनोरंजन
    • यात्रा
    • स्वास्थ्य
    • धर्म-संस्कृति
    • पर्यावरण
    • बिजनेस
    • साक्षात्कार
    • शिक्षा
    • रक्षा
    • पुस्तकें
    • सोशल मीडिया
    • विज्ञान और तकनीक
    • मत अभिमत
    • श्रद्धांजलि
    • संविधान
    • आजादी का अमृत महोत्सव
    • मानस के मोती
    • जनजातीय नायक
    • पॉडकास्ट
    • पत्रिका
    • हमारे लेखक
Panchjanya
panchjanya android mobile app
  • होम
  • विश्व
  • भारत
  • राज्य
  • सम्पादकीय
  • संघ
  • वेब स्टोरी
  • जीवनशैली
  • विश्लेषण
  • मत अभिमत
  • रक्षा
  • धर्म-संस्कृति
  • पत्रिका
होम Archive

सम्पादकीय

by
Nov 2, 2007, 12:00 am IST
in Archive
FacebookTwitterWhatsAppTelegramEmail

दिंनाक: 02 Nov 2007 00:00:00

हिंसा का आघात तपस्या ने कब, कहां सहा है?देवों का दल सदा दानवों से हारता रहा है।-रामधारी सिंह “दिनकर” (कुरुक्षेत्र, तृतीय सर्ग, पृ. 31)रतन “तिरंगा” टाटारतन टाटा ने ब्रिटिश सत्ता का प्रतीक मानी जाने वाली कोरस कंपनी 12.1 अरब डालर मूल्य पर अधिग्रहीत कर दुनिया में तिरंगे को शान से लहराया और जिस देश ने कभी धूर्तता और चालाकी से भारत में यूनियन जैक फहराया था वहां वंदेमातरम् गुंजा दिया। यह अधिग्रहण एक असाधारण और अभूतपूर्व घटना है। रतन टाटा ने एक साक्षात्कार में बताया कि वे पिछले 24 घंटे से पलक भी नहीं झपक सके। लगातार 9 घंटे तक चली नीलामी प्रक्रिया में वे पूरी तरह से शामिल रहे-मुम्बई से, जहां वे अपने विश्व प्रसिद्ध शानदार ताजमहल होटल के विशेष कक्ष से सारी कार्रवाई का संचालन कर रहे थे। कोरस के अधिग्रहण में सबसे बड़ी बाधा ब्राजील की कंपनी सी.एस.एन. की थी। सी.एस.एन. हर हाल में कोरस खरीदना चाहती थी और उसने नीलामी में 603 पेंस प्रति शेयर का प्रस्ताव रखा। रतन टाटा सिर्फ 5 पेंस के अन्तर से जीत गए क्योंकि उन्होंने कोरस के अधिग्रहण हेतु 608 पेंस प्रति शेयर का प्रस्ताव रख दिया था। इस प्रकार दुनिया की सबसे रोमांचक और महत्वपूर्ण अधिग्रहण की कोशिश टाटा ने जीत ली। अब देखिए, इसका क्या गजब का असर हुआ। जमशेदपुर से लेकर कोलकाता और मुम्बई से लेकर देश के विभिन्न हिस्सों तक में देशभक्ति, राष्ट्रीयता और गौरव की ऐसी लहर फैली जिसका अंदाजा लगाना भी कठिन है। इकानामिक टाइम्स ने अपने पहले पन्ने के शीर्षक में लिखा- 5 पेंस ने भारत को इंग्लैंड का पौंड दे दिया, और खबर की शुरुआत में ही खुशी और गौरव प्रकट करते हुए लिखा कि ब्रिटिश महारानी के साम्राज्य की एक प्रतीक कोरस कंपनी में अब तिरंगा फहरेगा। जाहिर है टाटा ने सारे देश को मोह लिया। एक ऐसे समय में जब चारों ओर देश में राजनीतिक वितंडावाद, आपसी गाली-गलौज और जुगुप्साजनक व्यवहार अखबारों में छाया रहता है, टाटा ने देश को हिम्मत, हौसला तथा भविष्य में आत्मविश्वास दिया-बहुत बहुत धन्यवाद।रतन टाटा ने अपनी पहली प्रतिक्रिया में बताया कि “जो कुछ भी हुआ उससे हमने इतना रोमांच और राहत महसूस की कि हमारी आवाजें भर्रा गईं और हमने एक-दूसरे को गले लगा लिया। जब उनसे पूछा गया कि वे इस अधिग्रहण के बारे में क्या सोचते हैं तो उनका कहना था कि एक साल पहले कोरस कंपनी ने स्वयं हमसे सम्पर्क किया था और पूछा था कि क्या हम अपने व्यापार को उनके साथ मिला सकते हैं। बस, तब से जो शुरुआत हुई तो यह तय पाया गया कि कोरस को टाटा के परिवार में शामिल करना ही बेहतर है। हालांकि कोरस टाटा स्टील से 6 गुना बड़ी कंपनी है और उसका सालाना उत्पादन एक करोड़ नब्बे लाख टन है, जबकि टाटा का साठ लाख टन है। लेकिन आश्चर्य और आनंद की बात यह है कि उत्पादन में इतना बड़ा अंतर होते हुए भी टाटा का साठ लाख टन उत्पादन पर लाभांश कोरस के बराबर ही है। रतन टाटा ने कहा कि वे यह प्रयास करेंगे कि अपनी व्यवस्थापन नीति द्वारा कोरस के उत्पादन तरीकों में परिवर्तन कर उसके लाभांश को भी बेहतर बनाएं।टाटा ने पूरे देश का गौरव बढ़ाया है। उनकी इस सफलता पर हार्दिक अभिनंदन। देश इसी प्रकार आशा और विश्वास के नये नये कीर्तिस्तंभ स्थापित होते हुए देखे, यह कामना है।6

ShareTweetSendShareSend
Subscribe Panchjanya YouTube Channel

संबंधित समाचार

ज्ञान सभा 2025 : विकसित भारत हेतु शिक्षा पर राष्ट्रीय सम्मेलन, केरल के कालड़ी में होगा आयोजन

सीबी गंज थाना

बरेली: खेत को बना दिया कब्रिस्तान, जुम्मा शाह ने बिना अनुमति दफनाया नाती का शव, जमीन के मालिक ने की थाने में शिकायत

प्रतीकात्मक चित्र

छत्तीसगढ़ के अबूझमाड़ में सुरक्षाबलों के साथ मुठभेड़ में छह नक्सली ढेर

पन्हाला दुर्ग

‘छत्रपति’ की दुर्ग धरोहर : सशक्त स्वराज्य के छ सशक्त शिल्पकार

जहां कोई न पहुंचे, वहां पहुंचेगा ‘INS निस्तार’ : जहाज नहीं, समंदर में चलती-फिरती रेस्क्यू यूनिवर्सिटी

जमानत मिलते ही करने लगा तस्करी : अमृतसर में पाकिस्तानी हथियार तस्करी मॉड्यूल का पर्दाफाश

टिप्पणियाँ

यहां/नीचे/दिए गए स्थान पर पोस्ट की गई टिप्पणियां पाञ्चजन्य की ओर से नहीं हैं। टिप्पणी पोस्ट करने वाला व्यक्ति पूरी तरह से इसकी जिम्मेदारी के स्वामित्व में होगा। केंद्र सरकार के आईटी नियमों के मुताबिक, किसी व्यक्ति, धर्म, समुदाय या राष्ट्र के खिलाफ किया गया अश्लील या आपत्तिजनक बयान एक दंडनीय अपराध है। इस तरह की गतिविधियों में शामिल लोगों के खिलाफ कानूनी कार्रवाई की जाएगी।

ताज़ा समाचार

ज्ञान सभा 2025 : विकसित भारत हेतु शिक्षा पर राष्ट्रीय सम्मेलन, केरल के कालड़ी में होगा आयोजन

सीबी गंज थाना

बरेली: खेत को बना दिया कब्रिस्तान, जुम्मा शाह ने बिना अनुमति दफनाया नाती का शव, जमीन के मालिक ने की थाने में शिकायत

प्रतीकात्मक चित्र

छत्तीसगढ़ के अबूझमाड़ में सुरक्षाबलों के साथ मुठभेड़ में छह नक्सली ढेर

पन्हाला दुर्ग

‘छत्रपति’ की दुर्ग धरोहर : सशक्त स्वराज्य के छ सशक्त शिल्पकार

जहां कोई न पहुंचे, वहां पहुंचेगा ‘INS निस्तार’ : जहाज नहीं, समंदर में चलती-फिरती रेस्क्यू यूनिवर्सिटी

जमानत मिलते ही करने लगा तस्करी : अमृतसर में पाकिस्तानी हथियार तस्करी मॉड्यूल का पर्दाफाश

Pahalgam terror attack

घुसपैठियों पर जारी रहेगी कार्रवाई, बंगाल में गरजे PM मोदी, बोले- TMC सरकार में अस्पताल तक महिलाओं के लिए सुरक्षित नहीं

अमृतसर में BSF ने पकड़े 6 पाकिस्तानी ड्रोन, 2.34 किलो हेरोइन बरामद

भारतीय वैज्ञानिकों की सफलता : पश्चिमी घाट में लाइकेन की नई प्रजाति ‘Allographa effusosoredica’ की खोज

डोनाल्ड ट्रंप, राष्ट्रपति, अमेरिका

डोनाल्ड ट्रंप को नसों की बीमारी, अमेरिकी राष्ट्रपति के पैरों में आने लगी सूजन

  • Privacy
  • Terms
  • Cookie Policy
  • Refund and Cancellation
  • Delivery and Shipping

© Bharat Prakashan (Delhi) Limited.
Tech-enabled by Ananthapuri Technologies

  • Search Panchjanya
  • होम
  • विश्व
  • भारत
  • राज्य
  • सम्पादकीय
  • संघ
  • जीवनशैली
  • वेब स्टोरी
  • ऑपरेशन सिंदूर
  • विश्लेषण
  • लव जिहाद
  • खेल
  • मनोरंजन
  • यात्रा
  • स्वास्थ्य
  • धर्म-संस्कृति
  • पर्यावरण
  • बिजनेस
  • साक्षात्कार
  • शिक्षा
  • रक्षा
  • पुस्तकें
  • सोशल मीडिया
  • विज्ञान और तकनीक
  • मत अभिमत
  • श्रद्धांजलि
  • संविधान
  • आजादी का अमृत महोत्सव
  • पॉडकास्ट
  • पत्रिका
  • हमारे लेखक
  • Read Ecopy
  • About Us
  • Contact Us
  • Careers @ BPDL
  • प्रसार विभाग – Circulation
  • Advertise
  • Privacy Policy

© Bharat Prakashan (Delhi) Limited.
Tech-enabled by Ananthapuri Technologies