श्रद्धाञ्जलि

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दिंनाक: 07 Mar 2005 00:00:00

सुन्दर सिंह भण्डारीएक कुशल संगठकसुन्दर सिंह भण्डारी22 जून की सुबह भारतीय जनता पार्टी के वरिष्ठ नेता एवं गुजरात के पूर्व राज्यपाल श्री सुन्दर सिंह भण्डारी का निधन हो गया। 84 वर्षीय श्री भण्डारी पिछले कुछ दिनों से अस्वस्थ थे और नई दिल्ली में कालकाजी एक्सटेंशन स्थित अपने आवास पर स्वास्थ्य लाभ कर रहे थे। 22 जून को तड़के नींद में ही उन्हें हृदयाघात हुआ था। शाम को उनका पार्थिव शरीर भाजपा मुख्यालय पर अंतिम दर्शनार्थ लाया गया, जहां बड़ी संख्या में पार्टी कार्यकर्ताओं, मित्रों, समर्थकों और प्रशंसकों ने उन्हें अपनी श्रद्धाञ्जलि अर्पित की। प्रधानमंत्री डा. मनमोहन सिंह विशेष रूप से स्व. भण्डारी के अन्तिम दर्शनार्थ भाजपा मुख्यालय गए और उन्हें अंतिम प्रणाम निवेदित किए। इस अवसर पर पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी, भाजपा अध्यक्ष लालकृष्ण आडवाणी सहित अनेक वरिष्ठ भाजपा नेता, कार्यकर्ता उपस्थित थे। अगले दिन 23 जून की सुबह निगम बोध घाट पर उनके अन्तिम संस्कार के पूर्व उपराष्ट्रपति श्री भैरोसिंह शेखावत ने श्री भण्डारी के पार्थिव शरीर पर पुष्पांजलि अर्पित की। राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ, भारतीय जनता पार्टी, विश्व हिन्दू परिषद् सहित तमाम हिन्दुत्वनिष्ठ संगठनों के कार्यकर्ताओं ने उन्हें अंतिम श्रद्धासुमन अर्पित किए।निगम बोध घाट पर लालकृष्ण आडवाणी, विहिप के कार्यकारी अध्यक्ष अशोक सिंहल, वरिष्ठ उपाध्यक्ष आचार्य गिरिराज किशोर, रा.स्व.संघ के सहसरकार्यवाह सुरेश सोनी, भाजपा के वरिष्ठ नेता प्यारेलाल खण्डेलवाल, गुजरात के मुख्यमंत्री नरेन्द्र मोदी, झारखण्ड के मुख्यमंत्री अर्जुन मुण्डा, म.प्र. के मुख्यमंत्री बाबू लाल गौर के अलावा राजनाथ सिंह, प्रमोद महाजन, अरुण जेटली सहित अनेक भाजपा नेता व कार्यकर्ता उपस्थित थे। स्व. भण्डारी के निधन पर शोक व्यक्त करते हुए श्री अटल बिहारी वाजपेयी ने कहा कि श्री भण्डारी के निधन से एक युग का अंत हो गया है।स्व. भण्डारी के प्रति रा.स्व.संघ के सरकार्यवाह मोहनराव भागवत की श्रद्धाञ्जलिनिष्ठावान स्वयंसेवकश्रीसुन्दर सिंह भण्डारी के जाने से एक कर्मठ, निष्ठावान स्वयंसेवक तथा राजनीतिक क्षेत्र में समर्पण भाव से नित्य कार्यरत रहने वाला कार्यकर्ता चला गया है। उनकी पवित्र स्मृति में राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ की ओर से मैं हार्दिक श्रद्धाञ्जलि अर्पित करता हूं।विचारों के प्रति पूर्णतया समर्पित भण्डारी जी कुशल संगठक और प्रशासक के रूप में हमेशा याद किए जाएंगे। आचार्य गिरिराज किशोर ने कहा कि वह मूल्य आधारित राजनीति के आग्रही थे। वरिष्ठ भाजपा नेता श्री जे.पी. माथुर ने कहा कि स्व. भण्डारी संघ, जनसंघ और भाजपा के निष्ठावान कार्यकर्ता थे। पूर्व मानव संसाधन विकास मंत्री डा. मुरली मनोहर जोशी ने बैंकाक से भेजे अपने शोक सन्देश में कहा कि वह उस पीढ़ी के प्रतिनिधि थे जिसने कभी अपने सिद्धान्तों से समझौता नहीं किया। गोवा के पूर्व राज्यपाल श्री केदारनाथ साहनी ने श्री भण्डारी को श्रद्धाञ्जलि देते हुए कहा कि उन्होंने कार्यकर्ताओं के सामने स्वयं का आदर्श प्रस्तुत किया था।प्रतिनिधिराष्ट्र समर्पित जीवन-कुप्.सी. सुदर्शनसरसंघचालक, रा.स्व.संघश्री सुंदर सिंह भण्डारी के निधन पर रा.स्व.संघ के सरसंघचालक श्री कुप्.सी.सुदर्शन ने श्रद्धाञ्जलिस्वरूप ये उद्गार व्यक्त किए-श्री सुन्दर सिंह भण्डारी 22 जून की प्रात:काल 5 बजे हम सबको छोड़कर परलोक चले गए। उनके जाने से एक राष्ट्र समर्पित जीवन का अवसान हो गया। अपनी युवावस्था में राजस्थान में राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के प्रचारक के रूप में उन्होंने अपने राष्ट्र समर्पित जीवन का प्रारम्भ किया था। जब डा. श्यामा प्रसाद मुखर्जी ने केन्द्रीय मंत्रिमंडल से त्यागपत्र देकर भारतीय संस्कृति पर आधारित एक राजनीतिक दल गठित करने के लिए श्री गुरुजी से कुछ कार्यकर्ता देने का आग्रह किया तब उस प्रथम दल में पं. दीनदयाल उपाध्याय, श्री अटल बिहारी वाजपेयी, श्री लालकृष्ण आडवाणी के साथ श्री सुन्दर सिंह भण्डारी भी थे, जिन्होंने जनसंघ की नींव का पत्थर बनकर कार्य किया।दीनदयाल जी की हत्या के बाद श्री भण्डारी ने ही जनसंघ के संगठन मंत्री की बागडोर संभाली और पं. दीनदयाल उपाध्याय के एकात्म मानव दर्शन के सशक्त व्याख्याकार बने। बाद में अनेक वर्षों तक उपाध्यक्ष के रूप में कार्य करते हुए भी उनका ध्यान संगठन पर ही था। दीर्घकाल तक जनसंघ व भारतीय जनता पार्टी को आगे बढ़ाने में उनकी प्रमुख भूमिका रही। बिहार व गुजरात के राज्यपाल के रूप में उन्होंने निष्पक्ष व निर्भीक भूमिका निभायी। जब भी भारतीय जनता पार्टी में वैचारिक ऊहापोह की स्थिति आती थी उनके अनुभवसिक्त विचारों व परामर्श का विशेष महत्व होता था। आज भी उनके सहयोग की आवश्यकता थी, किन्तु परमेश्वर की और ही इच्छा थी और वे चले गए। परब्राह्म परमात्मा भण्डारी जी की दिवंगत आत्मा को अपने सन्निकट उचित स्थान देंगे ही। उनके श्री चरणों में यही प्रार्थना है कि उनसे प्रेरित असंख्य कार्यकर्ताओं, आप्त स्वजनों, मित्रों एवं प्रशंसकों को भी उनके वियोग का दु:ख सहन करने की शक्ति दें।NEWS

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